लखनऊ। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मंगलवार को राजधानी लखनऊ में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को खुली चुनौती देते हुए कहा कि अगर वह नोटबंदी के फैसले को वापस नहीं लेते तो वह इसके खिलाफ देश के हर प्रदेश में प्रदर्शन करेंगी।
लखनऊ के 1090 चौराहे पर प्रदर्शन करने पहुंची ममता ने मोदी पर मीडिया को भी डराने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि वह मीडिया को भी ब्लैकमेल कर उसे डराते हैं। उन्होंने कहा कि मोदी ने पांच सौ और एक हजार के पुराने नोट बंद कर पूरे देश के साथ धोखा किया है।
तृणमूल कांग्रेस की मुखिया ने कहा कि नोटबंदी के चलते पूरा देश परेशान है। बाजार, दुकान और खेती सब कुछ बंद हो गया है। देश की अर्थव्यवस्था चरमरा गई है। मजदूरों का बुरा हाल है।
ममता ने कहा कि मैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नोटबंदी के फैसले का संसद से लेकर सड़क तक विरोध करूंगी। मैं अब हर प्रदेश में इस फैसले के खिलाफ प्रदर्शन करूंगी। अगर ताकत है तो फिर प्रधान मंत्री मुझे गिरफ्तार करा लें।
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन के दौरान कहा कि मैं लखनऊ इसलिए आई हूं क्योंकि उत्तर प्रदेश ने देश का हमेशा नेतृत्व किया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश की सत्तारुढ़ सपा का यहां मुझे साथ मिला है। उन्होंने इस दौरान मुख्यमंत्री अखिलेश यादव को इस सहयोग के लिए आशीर्वाद भी दिया।
हालांकि अखिलेश यादव ने ममता के कार्यक्रम से अपने को दूर ही रखा। सोमवार रात में मुख्यमंत्री ने हवाई अड्डे पर ममता का स्वागत किया था। इसके बाद कयास लगाए जा रहे थे कि वह भी इस कार्यक्रम में आएंगे लेकिन उन्होंने अपनी जगह अपनी कैबिनेट मंत्री अरविंद सिंह गोप को यहां भेज दिया और राजधानी में रहते हुए भी वह नहीं आए।
ममता के मंच पर अरविंद सिंह गोप के अलावा कैबिनेट मंत्री रामू वालिया, विधायक गोमती यादव, विधायक इंदल रावत, यूथ अध्यक्ष संतोष यादव, एमएलसी आनंद भदौरिया, एमएलसी सुनील सिंह साजन समेत कई नेता मौजूद रहे।
प्रदर्शन के दौरान सपा के कार्यकर्ता भी काफी संख्या में आए थे। बैठने को लेकर वे आपस में भिड़ भी गए। मौके पर मौजूद पुलिस बल ने स्थिति को काबू में किया। कार्यक्रम में जब मुख्यमंत्री अखिलेश यादव नहीं आए तो सपा के तमाम कार्यकर्ता वहां से वापस चले गए।
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