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No ambulance facility for patient in Janjgir-Champa district Hospital
Home Breaking एम्बुलेंस से नहीं, ठेलों से अस्पताल पहुंचाए जा रहे हैं मरीज

एम्बुलेंस से नहीं, ठेलों से अस्पताल पहुंचाए जा रहे हैं मरीज

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एम्बुलेंस से नहीं, ठेलों से अस्पताल पहुंचाए जा रहे हैं मरीज
No ambulance facility for patient in Janjgir-Champa district Hospital
No ambulance facility for patient in Janjgir-Champa district Hospital
No ambulance facility for patient in Janjgir-Champa district Hospital

जांजगीर-चांपा। सरकारी योजनाएं गांवों तक पहुंचकर किस तरह दम तोड़ देती हैं, इसका नजारा आज उस समय देखने को मिला जब एक बीमार बुजुर्ग महिला को अस्पताल ले जाने के लिए एम्बुलेंस नसीब नहीं हुई और ठेले से अस्पताल पहुंचाया गया।

तुस्मा गांव के स्कूल में लगाए गए स्वास्थ्य विभाग के कैम्प में उस समय लोग हैरत में पड़ गए, जब सामान ढोने वाले ठेला में बुजुर्ग महिला को परिजन लेकर कैम्प में पहुंचे, जबकि परिसर में दो एंबुलेंस खड़ी हुई थी। हालांकि, वाहन होते हुए भी मरीज को ठेला में लाने के मामले मेें स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी कुछ भी नहीं कह रहे हैं।

इसके अलावा स्वास्थ्य विभाग के द्वारा कैम्प में रस्सी के सहारे ड्रीप को लटकाया गया है, जबकि स्टैण्ड की व्यवस्था करनी चाहिए। यहां तक दरी में ही मरीजों को लेटा दिया गया है, किसी तरह के गद्दे की व्यवस्था नहीं की गई है। इस तरह से तुस्मा गांव के कैम्प में अव्यवस्था सामने आई है। ग्रामीणों ने भी लापरवाही का आरोप लगाया है।

नवागढ़ क्षेत्र के तुस्मा गांव में डायरिया फैलने के जहां तमाम अव्यवस्थाएं सामने आ रही हैं, वहीं मरीजों की संख्या में बढ़ोतरी भी हो रही है और 3 दिनों में पीडि़त मरीजों की संख्या 120 से अधिक पहुंच गई है। गुरूवार की सुबह 10 मरीज नए मरीज पहुंचने से स्वास्थ्य महकमा के उस दावे की हवा निकल गई, जिसमें दावा किया गया था कि स्थिति कंट्रोल में है।

ये आंकड़ा शिविर में पहुंचने वालों की है। इसके अलावा निजी अस्पतालों में भी मरीज भर्ती हैं, वे आंकड़े अलग है। ग्रामीणों की मानें तो डायरिया से प्रभावित लोगों की संख्या 150 पार कर गई है, लेकिन स्वास्थ्य विभाग के पास 120 मरीजों के नाम की सूची है, जो कैम्प में पहुंचे हैं।

सरकारी अमले के दूषित पानी पीने से डायरिया फैलने की बात सामने आई है। इसमें ग्राम पंचायत के साथ ही पीएचई विभाग की भी लापरवाही सामने आई है, क्योंकि बरसात के दौरान प्रभावित मोहल्लों के हैण्डपंपों की जांच नहीं की गई थी। इसकी वजह से दूषित पानी से लोग प्रभावित हुए और हरकत में आया।

पीएचई विभाग ने उन हैण्डपंपों को बंद कर दिया है। इसके अलावा डीटीटी पावडर का भी छिडक़ाव किया गया है। हालांकि ये सभी प्रयास असफल साबित हो रहे हैं, क्योंकि मरीजों की संख्या कम नहीं हो रही है। आंकड़ा अब 120 तक पहुंच गया है।

शुरू दिन 20 की संख्या थी, लेकिन लगातार नए मरीज आने से स्वास्थ्य विभाग की मुश्किलें बढ़ गई है। नवागढ़ अस्पताल के अलावा ब्लॉक के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों के साथ ही खरौद अस्पताल से भी स्टाफ को बुलाया गया है, लेकिन मरीजों की बढ़ती संख्या के बाद कैम्प में कई तरह की अव्यवस्था सामने आ रही है।

इसके साथ ही मरीजों की संख्या बढऩे से स्वास्थ्य विभाग के अफसरेां को भी चिंतित कर दिया है। फिलहाल, कैम्प के अलावा जिला अस्पताल और नवागढ सीएचसी में मरीज भर्ती हैं और उनका इलाज जारी है, किन्तु मरीजों की संख्या ने स्वास्थ्य महकमा की परेशानी बढ़ा दी है।