सूरत/महेसाणा। गुजरात में पाटीदार अमानत आंदोलन ने रविवार को हिंसक रूप ले लिया। हालात इतने बिगड गए कि प्रशासन को प्रभावित क्षेत्रों में इंटरनेट सेवाए प्रतिबंधित करनी पडी ताकि अन्य क्षेत्रों तक हिंसा फैलने से रोकी जा सके। अगली 19 अप्रेल तक इंटनेट सेवाएं बाधित रहेंगी।
खासकर उत्तर गुजरात में हालात बेकाबू होने के समाचार हैं। उधर, मुख्यमंत्री आंददी बेन पटेल ने आंदोलन को लेकर कहा कि ऐसे आंदोलन होते रहते हैं। आमजन को घबराने की कोई जरूरत नहीं है।
पाटीदार नेता हार्दिक पटेल की गिरफ्तारी के लिए पटेल समुदाय ने रविवार से जेल भरो आंदोलन का ऐलान किया था। इसी के तहत महेसाणा, सूरत, भावनगर और कई अन्य शहरों में बडी तादाद में जमा हुए पटेल समुदाय के लोगों ने सब जेलों की तरफ कूच किया।
इसी दौरान महेसाणा में आगजनी शुरू हो गई। कुछ वाहनों को फूंक दिया गया। जगह जगह आंदोलन ने देखते ही देखते हिंसक रूप ले लिया। महेसाणा जेल की ओर बढते आंदोलनकारियों को रोकने के लिए पुलिस ने तत्काल हरकत में आते हुए खदेडने के लिए लाठीचार्ज किया। आंसू गैस के गोले छोडे गए। पटेल नेता लालजी भाई पटेल भी लाठीचार्ज की चपेट में आ गए।
महेसाणा कलेक्टर लोचन सेहरा ने कहा कि पुलिस ने पाटीदार समुदाय के लोगों को जेल परिसर में प्रवेश करने से रोका तो लोग पत्थरबाजी करने लगे। हिंसा कर रहे लोगों को काबू करने के लिए पुलिस को लाठीचार्ज का सहारा लेना पडा। महेसाणा में धारा 144 लगा दी गई है।
इसी तरह अहमदाबाद दिल्ली राष्ट्रीय राजमार्ग पर भी प्रदर्शनकारियों को हटाने के लिए पुलिस ने पानी की तेज बौछारों का इस्तेमाल किया। कुछ जगह आंसू गैंस के गोले भी छोडे गए।
उधर पाटीदार नेता हिस्केश पटेल का कहना है कि शांतिपूर्ण तरीके से चल रहे आंदोलन पर पुलिस ने लाठीचार्ज किया है, इसमें हमारे नेता लालजी भाई पटेल समेत कई लोग घायल हो गए हैं। सोमवार को गुजरात बंद का ऐलान किया गया है।
सूरत में भी सुबह करीब नौ बजे से पाटीदार जेल भरो आंदोलन के लिए जमा होने लगे थे। भीड जमा हो जाने के बाद लोग हिंसा पर उतर आए तथा जगह जगह टायर जलाकर रास्ते अवरूद्रध कर दिए। कुछ वाहनों को भी आग लगा दी। इसके बाद पुलिस ने कार्रवाई करते हुए लाठीचार्ज किया तथा कई लोगों को अरेस्ट कर लिया। वारछा में भी 70 लोगों को अरेस्ट किए जाने की सूचना है। कई जगह पाटीदार गिरफ्तारी के लिए बडी संख्या में जमा हुए लेकिन पुलिस के पास इतने अधिक लोगों को अरेस्ट कर रखने के लिए इंतजाम ही नहीं थे।
मालूम हो कि बीते साल अक्टूबर में अरेस्ट किए गए पाटीदार अमानत आंदोलन के नेता हार्दिक पटेल सूरत के लाजपोर जेल में बंद हैं। गत साल भी पटेल समुदाय ने आरक्षण के लिए आंदोलन चलाया था जो हिंसक हो गया था। तब भी आगजनी और बडे पैमाने पर तोडफोड की घटनाएं हुई थीं।