नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मंगलवार को नोएडा में ‘स्टैंड अप इंडिया’ पहल का शुभारंभ किया। इसका उद्देश्य 10 लाख रुपए से लेकर एक करोड़ रुपए तक का ऋण मुहैया कराकर अनुसूचित जातियों, अनुसूचित जनजातियों और महिलाओं में उद्यमशीलता को बढ़ावा देना है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को कार्यक्रम में कहा कि आज बाबू जगजीवन राम की जयंती हैं, जिन्होंने अनेक वर्षों तक राष्ट्र की सेवा में अपना जीवन लगा दिया उनके जन्मदिवस को समता दिवस के रूप में मनाया जाता है। उन्होंने सामाजिक स्थिति को कभी आड़े नहीं आने दिया। ऐसे महापुरुष के जन्मदिन पर भारत सरकार ने “स्टैंड अप” योजना लॉन्च की है।
प्रधानमंत्री ने कार्यक्रम में उपस्थित लोगों से कहा कि छोटे छोटे स्थान पर नए काम की शुरुआत होनी चाहिए। उन्होंने बैंकों से महिलाओं को कर्ज देने के लिए कहा ताकि वह भी अपनी इच्छानुसार रोजगार की शुरुआत कर सकें।
उन्होंने कहा कि देश के दलितों को आगे ले जाना चाहिए। देश ने अमीरों की गरीबी देख ली है और आखिर कब तक देश के भाई-बहन नौकरी के लिए इंतजार करेंगे और कितने समय तक वह बेरोजगार बैठे रहेंगे।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि राजनीतिक विचाराधाराएं कुछ भी हों, दल कोई भी हो, लेकिन देश के लिए जीने मरने वाले हम सब के लिए प्रेरक होते हैं। हम लोग वो हैं जिन्हें अवसर मिला, दलित वे हैं जिन्हें अवसर नहीं मिला, अगर उन्हें अवसर मिलेगा तो वे भी उत्तम काम कर सकते हैं।
उन्होंने कहा कि मैं डिक्की के अध्यक्ष ( दलित इंडियन चैम्बर्स ऑफ कामर्स एंड इंडस्ट्री ) मिलिंद कांबले का आभारी हूं,जिन्होंने दलित युवाओं में एक उम्मीद जगाई है। स्टैंड अप इंडिया से लोग जॉब सीकर से जॉब क्रिएटर बन जाएंगे। मैं वैसे तो यहां आया था “स्टैंड अप” योजना के लिए, लेकिन सांसद महेश शर्मा ने मुझे एक नया कार्यक्रम बताया, जिसमें मुझे 5100 ई-रिक्शे बांटना है। कल तक जो व्यक्ति अपनी ज्यादातर कमाई रिक्शे के मालिक को किराए देने में जाता था, वही व्यक्ति आज ई-रिक्शा का मालिका बन जाएगा।
कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री ने दस लाभार्थियों को ई-रिक्शा का मालिकाना दिया और इन लाभार्थियों के साथ चर्चा भी की। साथ ही उनकी समस्याओं तथा सुझावों को सुना। इस मौके पर कुल 5100 ई- रिक्शा का वितरण किया गया।
रिक्शा पाने वालों में महिला और पुरुष दोनों शामिल थे। योजना के तहत अनुसूचित जातियों, अनुसूचित जनजातियों सहित महिलाओं को लाभ होगा और युवाओं में स्व- उद्यम को बढ़ावा देने के लिए यह सरकार का बेहद महत्वाकांक्षी कार्यक्रम है।