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'न्यू इंडिया' भेदभाव मुक्त हो : राष्ट्रपति कोविंद - Sabguru News
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‘न्यू इंडिया’ भेदभाव मुक्त हो : राष्ट्रपति कोविंद

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‘न्यू इंडिया’ भेदभाव मुक्त हो : राष्ट्रपति कोविंद
President Ram Nath Kovind addresses the nation on Independence day eve
President Ram Nath Kovind addresses the nation on Independence day eve
President Ram Nath Kovind addresses the nation on Independence day eve

नई दिल्ली। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने सोमवार को ‘न्यू इंडिया’ को भेदभाव विहीन बनाने का देशवासियों से आह्वान किया। उन्होंने कहा कि यह एक ऐसा समाज होना चाहिए, जो भविष्य की ओर तेजी से बढ़ने के साथ-साथ संवेदनशील भी हो, जिसमें कोई भेदभाव न हो।

उन्होंने कहा कि ‘न्यू इंडिया’ समग्र मानवतावादी मूल्यों को समाहित करे, क्योंकि यही मानवीय मूल्य देश की संस्कृति की पहचान हैं। स्वतंत्रता दिवस की 70वीं वर्षगांठ पर देश के नाम अपने संबोधन में राष्ट्रपति कोविंद ने कहा कि 2022 में देश अपनी आजादी के 75 साल पूरे करेगा।

‘न्यू इंडिया’ के लिए कुछ महत्वपूर्ण लक्ष्यों को प्राप्त करने का ‘राष्ट्रीय संकल्प’ है- जैसे हर परिवार के लिए घर, मांग के मुताबिक बिजली, बेहतर सड़कें और संचार के माध्यम, आधुनिक रेल नेटवर्क, तेज और सतत विकास।

कोविंद ने कहा कि एक ऐसा संवेदनशील समाज, जहां पारंपरिक रूप से वंचित लोग, चाहे वे अनुसूचित जाति के हों, जनजाति के हों या पिछड़े वर्ग के हों, देश के विकास प्रक्रिया में सहभागी बनें। एक ऐसा संवेदनशील समाज, जो उन सभी लोगों को अपने भाइयों और बहनों की तरह गले लगाए, जो देश के सीमांत प्रदेशों में रहते हैं, और कभी-कभी खुद को देश से कटा हुआ सा महसूस करते हैं।

उन्होंने कहा कि एक ऐसा संवेदनशील समाज, जहां अभावग्रस्त बच्चे, बुजुर्ग और बीमार वरिष्ठ नागरिक, और गरीब लोग, हमेशा हमारे विचारों के केंद्र में रहें। अपने दिव्यांग भाई-बहनों पर हमें विशेष ध्यान देना है और यह देखना है कि उन्हें जीवन के हर क्षेत्र में अन्य नागरिकों की तरह आगे बढ़ने के अधिक से अधिक अवसर मिलें। एक ऐसा संवेदनशील और समानता पर आधारित समाज, जहां बेटा-बेटी में कोई भेदभाव न हो, धर्म के आधार पर कोई भेदभाव न हो।

कोविंद ने कहा कि एक ऐसा संवेदनशील समाज, जो मानव संसाधन रूपी हमारी पूंजी को समृद्ध करे, जो विश्वस्तरीय शिक्षण संस्थानों में अधिक से अधिक नौजवानों को कम खर्च पर शिक्षा पाने का अवसर देते हुए उन्हें समर्थ बनाए, तथा जहां बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं और कुपोषण एक चुनौती के रूप में न रहे।

उन्होंने कहा कि नोटबंदी के समय जिस तरह आपने असीम धैर्य का परिचय देते हुए कालेधन और भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई का समर्थन किया, वह एक जिम्मेदार और संवेदनशील समाज का ही प्रतिबिंब है। नोटबंदी के बाद से देश में ईमानदारी की प्रवृत्ति को बढ़ावा मिला है। ईमानदारी की भावना दिन-प्रतिदिन और मजबूत हो, इसके लिए हमें लगातार प्रयास करते रहना होगा।

उन्होंने कहा कि आधुनिक प्रौद्योगिकी को ज्यादा से ज्यादा इस्तेमाल में लाने की आवश्यकता है। हमें अपने देशवासियों को सशक्त बनाने के लिए प्रौद्योगिकी का प्रयोग करना ही होगा, ताकि एक ही पीढ़ी के दौरान गरीबी को मिटाने का लक्ष्य हासिल किया जा सके। ‘न्यू इंडिया’ में गरीबी के लिए कोई गुंजाइश नहीं है।

कोविंद ने कहा कि आज पूरी दुनिया भारत को सम्मान से देखती है। जलवायु परिवर्तन, प्राकृतिक आपदाओं, आपसी टकराव, मानवीय संकटों और आतंकवाद जैसी कई अंतरराष्ट्रीय चुनौतियों से निपटने में विश्व पटल पर भारत अहम भूमिका निभा रहा है।