जयपुर। राजस्थान क्रिकेट संघ आरसीए के अध्यक्ष ललित मोदी को बुधवार को बड़ी राहत मिली जब राजस्थान उच्च न्यायालय ने बीसीसीआई की उस याचिका को ठुकरा दिया, जिसमें राज्य क्रिकेट संघ द्वारा दायर दीवानी मुकदमे को अधिकार क्षेत्र के आधार पर चुनौती दी गई थी।
बीसीसीआई चाहता था कि यह दीवानी मुकदमा चेन्नई या मुंबई में स्थानांतरित किया जाए और तर्क दिया कि यह राजस्थान के अधिकार क्षेत्र में नहीं आता है।
बीसीसीआई से आजीवन प्रतिबंध झेल रहे निलंबित आईपीएल आयुक्त मोदी को देश में क्रिकेट की इस शीर्ष संस्था की चेतावनी के बावजूद दिसंबर 2013 में हुए चुनावों में आरसीए का अध्यक्ष चुना गया था।
कानूनी लड़ाई के बाद उच्चतम न्यायालय ने मोदी को राजस्थान में खेल अधिनियम के तहत चुनाव लडऩे की अनुमति दे दी थी लेकिन इसके साथ ही बीसीसीआई को भी अपने नियमों के तहत आरसीए के खिलाफ कार्रवाई करने की छूट दे दी थी।
बीसीसीआई ने मोदी के अध्यक्ष चुने जाने के तुरंत बाद आरसीए को निलंबित कर दिया था, लेकिन मामला अदालत में है क्योंकि आरसीए ने शीर्ष क्रिकेट संस्था के फैसले को चुनौती दी। बीसीसीआई ने याचिका में अधिकार क्षेत्र के आधार पर आरसीए के इस मुकदमे को चुनौती दी थी।
राजस्थान उच्च न्यायालय के न्यायाधीश बनवारी लाल शर्मा ने बीसीसीआई की याचिका खारिज कर दी। अधिकार क्षेत्र के संबंध में बीसीसीआई की याचिका खारिज होने के बाद अब अतिरिक्त जिला न्यायाधीश नंबर 4 जयपुर की अदालत में बीसीसीआई के आरसीए को निलंबित करने के फैसले के खिलाफ अपील पर सुनवाई हो सकेगी।