अहमदाबाद/नई दिल्ली। गुजरात में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अहमद पटेल के पांचवीं बार राज्यसभा सदस्य चुने जाने को लेकर उठापटक सोमवार को आखिरी दौर में पहुंच गया है, वहीं भारतीय जनता पार्टी, कांग्रेस की सारी कोशिशों को नाकाम करने की कोशिशों में लगी हुई है।
मंगलवार को होने वाले राज्यसभा चुनाव से एक दिन पहले सोमवार को भाजपा के तोड़फोड़ से बचाने के लिए गुजरात से बेंगलुरू भेजे गए कांग्रेस के 44 विधायक गुजरात लौट आए।
इन विधायकों को आणंद के पास स्थित निजानंद रेसॉर्ट में रखा गया है। ये सभी मंगलवार को मतदान में हिस्सा लेने सीधे गांधीनगर पहुंचेंगे।
182 सदस्यीय विधानसभा में कांग्रेस के 57 विधायक थे, जिनमें से छह ने 26 जुलाई को पार्टी से इस्तीफा दे दिया और उनमें से तीन 28 जुलाई को भाजपा में शामिल हो गए।
वहीं सोमवार को अहमद पटेल ने भरोसा जताया है कि वह मंगलवार के राज्यसभा चुनाव में जीत हासिल करेंगे। उन्होंने गुजरात में सत्ताधारी भाजपा पर उनके खिलाफ साजिश रचने का आरोप लगाया। पटेल को पांचवीं बार राज्यसभा सदस्य चुने जाने के लिए 45 प्राथमिक मतों की जरूरत है।
पटेल ने कहा कि 44 विधायकों के अलावा हमें जनता दल (युनाइटेड), राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी और (बागी नेता) शंकरसिंह वाघेला का समर्थन प्राप्त है। मैंने शरद पवार से बात की है और उन्होंने कांग्रेस की हर मदद करने का वादा किया है। यहां तक कि उन्होंने व्हिप भी जारी किया है। जहां तक वाघेला की बात है, तो उन्होंने खुद मेरे पक्ष में मतदान करने का वादा किया है और मुझे पूरा विश्वास है कि वह अपना वादा निभाएंगे।
उनके ऊपर और कांग्रेस के विधायकों के ऊपर सर्विलांस के आरोपों के बारे में पूछे जाने पर पटेल ने कहा कि यह एक टुच्चागीरी का उदाहरण है।
कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के राजनीतिक सचिव पटेल ने आणंद के पास स्थित एक निजी रेसॉर्ट में संवाददाताओं से कहा कि भाजपा की कोशिशों के बावजूद कल मेरी जीत को लेकर मुझे पूरा भरोसा है और संख्या सभी को चौंका देगी। कांग्रेस के 44 विधायक इसी रेसॉर्ट में रखे गए हैं।
गुजरात की 182 सदस्यों वाली विधानसभा में कांग्रेस के 57 विधायकों में छह विधायकों के 26 जुलाई को इस्तीफा दे दिया था। इस्तीफा देने वाले छह में से तीन ने 28 जुलाई को भाजपा की सदस्यता ले ली।
भाजपा से बचे 51 कांग्रेसी विधायकों में से सात विधायक बेंगलुरु से आने वाले विधायकों में शामिल नहीं हुए हैं। कांग्रेस के 51 में से बचे हुए 44 विधायकों को आनंद के निकट निजानंद रिसॉर्ट में ठहराया गया है। उनके परिवार के सदस्य सोमवार को रक्षा बंधन पर उनसे मुलाकात करेंगे।
यहां से विधायक मंगलवार को सीधे राज्य की राजधानी गांधीनगर जाएंगे, जहां वे पार्टी के राज्य सभा के उम्मीदवार अहमद पटेल के लिए मतदान करेंगे।
गुजरात से शेष दो राज्यसभा सीटों पर भाजपा अध्यक्ष अमित शाह और सूचना एवं प्रसारण मंत्री स्मृति ईरानी खड़े हैं, जिनकी जीत का भाजपा को पूरा भरोसा है। भाजपा ने तीसरी सीट के लिए कांग्रेस छोड़कर आए बलवंत सिंह राजपूत को खड़ा किया है।
अहमदाबाद रवाना होने से पहले हवाईअड्डे के बाहर कांग्रेस के विधायक शक्ति सिंह गोहिल ने संवाददाताओं से कहा कि हम सभी एकजुट हैं। भाजपा हमारे किसी भी विधायक को धमकी नहीं दे सकती। हमारे साथी विधायकों के साथ खरीद-फरोख्त संभव नहीं है।
वहीं राजधानी दिल्ली में कांग्रेस ने कहा कि उन्हें पटेल की जीत का पूरा भरोसा है, भले ही भाजपा विधायकों को पैसे, सत्ता और धमकी के बल लुभाने की कोशिश क्यों न करे।
कांग्रेस ने कहा कि भाजपा गलत रास्ते अख्तियार कर गुजरात में अल्पमत वोट को बहुमत में बदलने की साजिश रच रही है।
कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने यहां संवाददाताओं से कहा कि वे जनाधार का अपमान करने के लिए सभी कोशिशें कर सकते हैं..लेकिन हमें पूरा भरोसा है कि अहमद पटेल जीतेंगे।
सुरजेवाला ने कहा कि जनता ने उन्हें खारिज कर दिया है। यह विधानसभा चुनाव में साबित हो जाएगा। भाजपा गुजरात में हार को लेकर चिंतित है, इसलिए वे राजनीति को नीचे गिराने की अपनी पूरी कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि लेकिन वे (भाजपा) चाहे जितनी साजिश रचें, कांग्रेस सच के रास्ते पर चलेगी और जीतेगी।
गुजरात में 1995 में पहली बार भाजपा की सरकार आने के बाद राजनीतिक उठापटक की यह पहली घटना है। गुजरात की सभी लोकसभा सीटों पर भाजपा का कब्जा है।
गुजरात में यह राजनीतिक अस्थिरता कांग्रेस के वरिष्ठ नेता शंकर सिंह वाघेला के नेता प्रतिपक्ष पद से इस्तीफा देने के बाद शुरू हुआ।
वाघेला ने सोमवार को कहा है कि वह कांग्रेस विधायकों के संपर्क में नहीं हैं, हालांकि उन्होंने यह भी कहा है कि पटेल के साथ उनके संबंध ‘सौहार्दपूर्ण’ हैं।
बीते महीने कांग्रेस से इस्तीफा देने वाले वाघेला ने सोमवार को समाचार चैनल एनडीटीवी से कहा कि भाजपा का कोई प्रस्ताव स्वीकार करने का सवाल ही नहीं उठता।
अपने वोट के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि मतदान पर विधायक का अधिकार होता है। मैं इसका खुलासा नहीं करना चाहता।
राकांपा नेता प्रफुल्ल पटेल ने टिप्पणी की है कि उनकी पार्टी को गुजरात में अपने समर्थन को लेकर अभी निर्णय लेना है। इस बारे में पूछे जाने पर सुरजेवाला ने कहा कि जब राकांपा अध्यक्ष शरद पवार ने पहले ही स्पष्ट कर दिया है तो हम नहीं समझते कि हमें किसी अन्य नेता की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देनी चाहिए।