भोपाल। उपराष्ट्रपति एम़ वेकैंया नायडू ने यहां रविवार को कहा कि महिला सशक्तिकरण से ही नए भारत का निर्माण होगा, इसलिए जरूरी है कि संसद और विधानसभाओं में महिलाओं को आरक्षण देने के कानून का सभी राज्यों को समर्थन करना चाहिए। महिला सशक्तिकरण के लिए कानून के साथ इसे लागू करने की संकल्पशक्ति भी जरूरी है।
स्थानीय जम्बूरी मैदान पर आयोजित महिला स्व-सहायता समूहों के राज्य-स्तरीय प्रशिक्षण सह सम्मेलन को संबोधित कर हुए नायडू ने कहा कि नारी अब अबला नहीं, सबला है और बेटियां अब बोझ नहीं वरदान हैं। वे पूरी क्षमता से विभिन्न क्षेत्रों में अपनी जिम्मेदारी निभा रही हैं।
देश की रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण हैं। विदेश मंत्री सुषमा स्वराज हैं और सुमित्रा महाजन संसद में स्पीकर हैं। इतना ही नहीं, आजादी की लड़ाई में भी महिलाओं ने अप्रतिम योगदान दिया है।
उपराष्ट्रपति ने आगे कहा कि समाज में महिला सशक्तिकरण के माध्यम से परिवर्तन की लहर आई है। समाज का नजरिया बदलने की जरूरत है। मध्यप्रदेश ने महिला सशक्तिकरण के क्षेत्र में इतिहास बनाया है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा महिलाओं के स्व-सहायता समूहों को बैंक लोन उपलब्ध कराने की पहल सराहनीय है।
नायडू ने कहा कि भारत में महिलाओं को सम्मान दिया जाता है। इसलिए इस धरती को भारत माता कहा गया है। सरकारी नौकरियों में महिलाओं को आरक्षण देने और स्थानीय निकायों में 50 प्रतिशत आरक्षण देने से समाज में बड़ा परिवर्तन आएगा। यदि महिलाओं को आगे बढ़ने के अवसर दें तो वे समाज में बड़ा परिवर्तन ला सकती हैं और अपने अधिकारों की रक्षा स्वयं कर सकती हैं। परिवार में यदि महिलाएं आगे बढ़ें तो पूरे परिवार में समृद्धि लाती हैं।
इस मौके पर मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि महिलाओं के स्व-सहायता समूह के फेडरेशन को टेक होम राशन निर्माण की फैक्ट्री चलाने की जिम्मेदारी दी जाएगी। उनके उत्पादों की बिक्री के लिए बड़े शहरों में बाजार स्थापित किए जाएंगे। शहरों में स्थित मल में किराये से दुकानें लेकर इनके उत्पादों का प्रदर्शन और बिक्री की जाएगी। महिला स्व-सहायता समूहों के फेडरेशन को मिलने वाले पांच करोड़ रुपये तक के लोन की बैंक गारंटी सरकार लेगी।
उन्होंने कहा कि राज्य आजीविका मिशन के अंतर्गत गठित और अन्य स्व-सहायता समूह द्वारा लिए गए ऋण पर देय ब्याज का तीन प्रतिशत ब्याज सरकार चुकायेगी। उन्हें स्टाम्प शुल्क नहीं लगेगा।
मुख्यमंत्री ने राज्य आजीविका मिशन के अंतर्गत गठित महिलाओं के स्व-सहायता समूह के उत्पादों को ब्रांडेड कंपनियों के उत्पादों से बेहतर बताते हुए कहा कि वे स्वयं इन उत्पादों का उपयोग शुरू करेंगे।
पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री गोपाल भार्गव ने अपने स्वागत भाषण में बताया कि महिलाओं के स्व-सहायता समूहों को बैंक लोन उपलब्ध कराए गए हैं। इनसे 1 लाख 50 हजार परिवार जुड़े हैं। अगले साल 5 लाख परिवारों को जोड़ने की कार्य योजना बनाई जाएगी।
उपराष्ट्रपति ने स्व-सहायता समूह के उत्पादों की प्रदर्शनी का अवलोकन किया। इस अवसर पर महिला स्व-सहायता समूह के सदस्यों ने अपने अनुभव साझा किए।
इससे पहले उपराष्ट्रपति नायडू विमान से भोपाल पहुंचे। विमानतल पर मुख्यमंत्री शिवराज, उनकी पत्नी साधना सिंह व अन्य नेताओं ने वेकैंया नायडू का स्वागत किया। वे वहां से जम्बूरी मैदान पहुंचकर स्व सहायता समूह के सम्मेलन में पहुंचे। कार्यक्रम में हिस्सा लेने के बाद नायडू विमान से दिल्ली के लिए रवाना हो गए। मुख्यमंत्री चौहान ने नायडू को स्मृति चिन्ह भेंट करते हुए उन्हें विदाई दी।