नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी के राज्यसभा सदस्य सुब्रह्मण्यम स्वामी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को खत लिखकर रिज़र्व बैंक ऑफ इंडिया के गवर्नर पद से रघुराम राजन को हटाने की वकालत की है। स्वामी ने रघुराम राजन पर ‘देश की अर्थव्यवस्था को नुकसान’ पहुंचाने का आरोप लगाया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भेजे पत्र में सुब्रह्मण्यम स्वामी ने लिखा है कि मैं डॉ राजन द्वारा जानबूझकर और सोचसमझकर भारतीय अर्थव्यवस्था को छिन्न-भिन्न कर देने के किए जा रहे प्रयासों से स्तब्ध हूं…। बीजेपी सांसद का आरोप है कि डॉ राजन ‘भारतीय अर्थव्यवस्था को पटरी से उतारने वाले व्यक्ति की तरह काम कर रहे हैं, किसी ऐसे शख्स की तरह नहीं, जो भारतीय अर्थव्यवस्था की बेहतरी चाहता हो…।
उन्होंने यह भी कहा कि चूंकि डॉ रघुराम राजन इस देश (भारत) में ग्रीन कार्ड के साथ रह रहे हैं, सो वह’मानसिक रूप से पूरी तरह भारतीय नहीं हैं।
इससे पहले सुब्रह्मण्यम स्वामी ने पिछले सप्ताह भी कहा था कि डॉ राजन को जल्द से जल्द उनकी ज़िम्मेदारियों से मुक्त कर दिया जाना चाहिए और उन्हें वापस शिकागो भेज दिया जाना चाहिए।
रघुराम राजन शिकागो यूनिवर्सिटी के बूथ स्कूल ऑफ बिज़नेस में वित्त विषय के प्रोफेसर हैं, और फिलहाल रिज़र्व बैंक के गवर्नर के रूप में कार्य करने के लिए यूनिवर्सिटी से छुट्टियों पर भारत आए हुए हैं।
गौरतलब है कि रघुराम राजन को कांग्रेस-नीत यूपीए सरकार के कार्यकाल के दौरान आरबीआई गवर्नर के रूप में नियुक्त किया गया था, और जब वर्ष 2014 में नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली बीजेपी की सरकार सत्ता में आई, उनके पद को खतरे में माना जाने लगा था, लेकिन रघुराम राजन ने कहा था कि रिज़र्व बैंक तथा सरकार के बीच ‘सम्मानजनक रिश्ता’ स्थापित है।
पिछले वर्ष प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सार्वजनिक रूप से आरबीआई गवर्नर की प्रशंसा की थी कि उन्होंने (रघुराम राजन ने) जटिल आर्थिक मुद्दों को भी लगातार मुलाकातों में उन्हें (प्रधानमंत्री को) ‘बिल्कुल सटीक’तरीके से समझा दिया। वित्त मंत्री अरुण जेटली भी हाल ही में रघुराम राजन की तारीफ़ कर चुके हैं।