वाराणसी। सांड शब्द सुनते ही लोग चौक जाते हैं और उनकी जेहन में बाबा की सवारी नन्दी का चेहरा घूम जाता है। व्यस्ततम सड़क या गलियों में खड़े सांड को देख लोग रूक जाना या चुपचाप किनारे से खिसक जाना बेहतर समझते हैं। ऐसे में किसी सांड को ढूंढ़ कर लाने पर 50 हजार नगद इनाम पाने की बात लोगों को बनारसी मसखरी लगेगी। लेकिन यह बात बिल्कुल सौ फीसदी सच है। गायब सांड के मालिक ने थाने में रिपोर्ट लिखवाने के साथ शहर में इसे ढूंढ़ कर लाने पर 50 हजार रूपए देने की घोषणा पोस्टर चस्पा कर की है।
सारनाथ थाना क्षेत्र के बरईपुर गांव निवासी मनोज पाण्डेय ने सांड पालकर उसका नाम बादशाह रखा है। मनोज का व्यवसाय भी बादशाह से जुड़ा है। गांव और क्षेत्र के लोग अपनी पालतू गाय मनोज के यहां गर्भधारण के लिए ले आते हैं। दो दिन पहले अचानक सांड गायब हो गया। काफी खोजने पर भी जब सांढ नही मिला तो मनोज ने इसकी गुमशुदगी की रिपोर्ट थाने में लिखवाई।
साथ ही बादशाह को खोज कर लाने वाले को अपनी तरफ से 50 हज़ार रुपए ईनाम की घोषणा मनोज ने पोस्टर लगवा कर किया है। सोमवार को मनोज ने पत्रकारों को बताया कि बादशाह का जन्म मेरे घर में हुआ था। उसे बचपन से लेकर आज तक मैंने अपने बच्चे की तरह पाला है। 4 अप्रेल को वह घर से कहीं निकल गया। हमने सोचा घूमकर वापस आ जाएगा लेकिन जब वह अगले दिन तक वापस नहीं लौटा तो हमने थाने में उसकी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई।
हमने सभी प्रमुख जगहों में उसकी तस्वीर के साथ सूचना भी चिपका दी है। कहा कि जिसने भी इसे चुराया है अगर वह खुद भी बादशाह को लेकर हमारे पास आता है तो हम उसे भी 50 हज़ार का ईनाम देंगे और आने-जाने का खर्च भी साथ में देंगे।
मनोज ने अपने सांड को खोजने के लिए एक विज्ञापन भी जगह-जगह चिपकाया है, जिसमें लिखा है कि उनके सांड का नाम बादशाह है जिसकी उम्र 3 साल है और रंग काला सफ़ेद है।
साथ ही लम्बाई लगभग 4 फीट है और कान हल्का कटा होने के साथ शरीर की बनावट दोहरी बदन है और जो कोई भी इसे ढूंढ़ कर लाएगा, उसे 50 हजार रुपए नगद राशि दी जाएगी। इस सम्बन्ध में पूछने पर कैंट क्षेत्राधिकारी राजकुमार यादव ने बताया कि सारनाथ थाने में एक रिपोर्ट सांड के गायब होने के संबंध में लिखवाई गई है। हमने रिपोर्ट के आधार पर तलाश जारी कर दी है। जल्द ही उसे हम खोज निकालेंगे।