जयपुर। कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष सचिन पायलट ने आरोप लगाया कि पिछले निकाय चुनाव पूर्व न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता के लागू नियमों की स्वयं भाजपा सरकार खुद ही धज्जियां उड़ा रही है।
कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष पायलट ने बुधवार को कहा कि गत निकाय चुनाव के दौरान प्रदेश की भाजपा सरकार ने नगरपालिका अधिनियम में संशोधन कर न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता की अनिवार्यता को चुनाव लड़ने वाले प्रत्याशियों पर लागू किया था, लेकिन अब सरकार खुद अपने ही नियमों की अनदेखी कर रही है।
सरकार ने जब शैक्षणिक योग्यता की बाध्यता का संशोधन किया गया था तब यह समान रूप से चुनाव के जीतने वाले व सरकार द्वारा सहवृत (कॉप्टेड) सदस्यों के लिए इसे लागू किया था, लेकिन पिछले दिनों सरकार ने प्रदेश भर की विभिन्न निकायों में सदस्यों को मनोनीत किया गया है जिनमें से कई सदस्य 10वीं पास की योग्यता को पूरा नहीं करते हैं।
उन्होंने कहा कि इससे साफ पता चलता है कि सरकार खुद नियमों की पालना में विश्वास नहीं रखती। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार ने नगरपालिका व पंचायत चुनाव में शैक्षणिक योग्यता की बाध्यता को आनन-फानन में लागू कर एक बड़े तबके को चुनाव लड़ने से वंचित किया था।
वहीं अपनी पार्टी के लोगों को फायदा पहुंचाने के लिए नियमों की धज्जियां उड़ा रही है। उन्होंने सरकार को पूरे प्रदेश में ऐसी नियुक्तियों को निरस्त करने की मांग की है।
https://www.sabguru.com/collecters-must-chek-education-document-before-oath/