बेंगलूरु। वरिष्ठ महिला पत्रकार गौरी लंकेश की बेंगलुरू में मंगलवार शाम लगभग 8.30 बजे गोली मारकर हत्या कर दी गई। सूत्र बताते हैं कि चार अज्ञात हमलावरों ने राज राजेश्वरी इलाके में स्थित गौरी के घर में घुसकर उन पर काफी करीब से गोली चलाई, जिससे मौके पर ही उनकी मौत हो गई।
बेंगलुरू के पुलिस कमिश्नर ने बताया कि गौरी लंकेश का शव खून से सना हुआ मिला। उन्होंने बताया कि घटनास्थल से कारतूस के चार खोके मिले हैं। हमलावरों की संख्या का अभी पता नहीं लग पाया है। घर के सामने लोगों ने फायर की आवाज सुनी। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार गौरी के माथे पर तीन गोलियां दागी गईं और उनकी तत्काल मौत हो गई।
गौरी लंकेश साप्ताहिक मैग्जीन ‘लंकेश पत्रिके’ की संपादक थीं। इसके साथ ही वे अखबारों में कॉलम भी लिखती थीं। टीवी न्यूज चैनल डिबेट्स में भी वे एक्टिविस्ट के तौर पर शामिल होती थीं। लंकेश के दक्षिणपंथी संगठनों से वैचारिक मतभेद थे।
वहीं इस हमले के बाद गौरी लंकेश के भाई ने गंभीर सवाल उठाए हैं। लंकेश के भाई इंद्रजीत ने इस केस की जांच सीबीआई को हैंडओवर किए जाने की मांग उठाई है।
कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने इस घटना पर दुख जताया। उन्होंने ट्वीट कर बताया कि उन्होंने इस संबंध में डीजीपी से बात की है। सिद्धारमैया ने घटना की गहन जांच के आदेश दिए हैं।
गौरी को हाल ही में बीजेपी और सांसद प्रहलाद जोशी से जुड़े एक मानहानि केस में दोषी ठहराया गया था। गौरी के पिता पी लंकेश एक पुरस्कार विजेता फिल्ममेकर थे, जिन्होंने 1980 में लंकेश पत्रिका शुरू की थी। गौरी की उम्र 55 साल थी।गौरी की परिवार में उनकी बहन कविता लंकेश, भाई इंद्रेश और मां हैं। कविता लंकेश राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार विजेता हैं।