नई दिल्ली। कृषि कल्याण सेस 1 जून यानि बुधवार से लागू हो गया है। कृषि कल्याण सेस लागू होने से सर्विस टैक्स अब तक 14.5 प्रतिशत था वह अब बढ़कर 15 प्रतिशत हो गया है।
सर्विस टैक्स के बढ़ने से अब रोजमर्रा में उपयोग होने वाली वस्तुओं की कीमतों में उछाल आ जाएगा। केंद्रीय सरकार ने बजट के दौरान 0.50% कृषि कल्याण सेस लाने का ऐलान किया था।
सर्विस टैक्स बढ़ने से मोबाइल फोन, रेस्टोरेंट में खाना, रेल और हवाई सफर के किराए में भी बढ़ोत्तरी,बैंकिंग समेत अन्य कई सेवाएं भी महंगी हो जाएंगी।
साथ ही, दस लाख से अधिक की कार खरीदने पर एक प्रतिशत अतिरिक्त टैक्स देना होगा, दो लाख से अधिक की नकद में खरीद पर एक प्रतिशत अतिरिक्त टैक्स देना होगा।
सरकार ने ऐसा सूखे के हालात को देखते हुए किसानों के लिए फंड जुटाने का फैसला किया है। इसी के तहत सर्विस टैक्स में आधा प्रतिशत अधिभार बढ़ाया गया है। लेकिन इससे मध्यम वर्ग पर बोझ बढ़ गया है।
मंगलवार देर रात से पेट्रोल और डीजल के दाम भी बढ़ा दिए गए। पेट्रोल 2.58 रु. और डीजल 2.26 रु. बढ़ा दिया गया। विमान ईंधन के साथ बिना सब्सिडी वाले गैस सिलेंडर के दाम भी 21 रुपए तक बढ़ा दिए गए हैं।
वित्त मंत्री अरुण जेटली की ओर से इस साल के बजट में घोषित किए गए कई प्रस्ताव बुधवार (एक जून) से प्रभावी हो जाएंगे, जिनमें सभी सेवाओं पर 0.5 प्रतिशत कृषि उपकर तथा घरेलू कालेधन का विवरण प्रस्तुत करने के चार महीने के अवसर की योजना शामिल हैं।
इसके अलावा 6.0 प्रतिशत सामान्यीकरण शुल्क भी आज से प्रभाव में आएगा। यह सीमा पार होने वाले सभी डिजिटल सौदों पर लागू होगा।
साथ ही पूर्व की तिथि से कर एजाने की वजह से उत्पन्न मामलों के समाधान के लिये एक बारगी कर निपटान योजना भी बुधवार से प्रभाव में आ जाएगी।
कृषि कल्याण उपकर (केकेसी) लागू होने के साथ कुल सेवा कर बढ़कर 15 प्रतिशत हो जाएगा। इसके साथ बाहर खाना खाना, फोन का उपयोग, हवाई तथा रेल यात्रा महंगी होगी।