जयपुर। सेवा भारती समिति जयपुर एवं श्रीराम जानकी विवाह समिति के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित छठे सर्वजातीय सामूहिक विवाह सम्मेलन में 19 जातियों के 51 जोडों का पाणिग्रहण संस्कार आदर्श विद्या मंदिर में संतों के सान्निध्य में शास्त्रीय पद्धति से संपन्न हुआ।
कार्यक्रम में अनेक सामाजिक संस्थाओं के प्रतिनिधि, जन प्रतिनिधि, प्रशासनिक अधिकारी व अनेक जातियों के प्रमुख लोगों ने शिरकत की। सबने मिलकर वर वधु को आशीर्वाद दिया।
सेवा भारती के प्रवक्ता अनिल शुक्ला ने बताया कि विवाह सम्मेलन में कोली, राजपूत, धानका, दर्जी, सैन, बैरवा, वैश्य, ब्राहमण, भील, नायक, रैगर, हरिजन आदि जातियों के जोडे थे। बीते छह साल में संस्था राजस्थान में 992 जोडों को विवाह सम्पन्न करा चुकी है। 15 मई को
भवानी मंडी में भी ऐसा ही आयोजन हो चुका है तथा 20 मई को लाखेरी (बूंदी) में भी सर्वजातीय सामूहिक विवाह का आयोजन होना है।
समारोह की जानकारी देते हुए उन्होंने कहा कि सुबह सभी वर वधु व उनके परिजन पहुंच गए। जलपान के बाद सियाराम दास जी की बगीची से बारात चल कर विवाह स्थल पहुंची। तोरण रस्म के बाद पांडाल में हजारों लोगों की व संतों की साक्षी में मंच पर वरमाला कार्यक्रम हुआ।
अलग अलग मंडपों पर हुए पाणिग्रहण संस्कारों में संतों ने जाकर आशीर्वाद दिया। जयपुर प्रांत मंत्री गिरधारी शर्मा ने कहा कि अलग अलग क्षेत्रों व विभिन्न जातियों के हजारों लोगों का कार्यक्रम में एक साथ रहना, एक साथ भोजन करना सामाजिक समरसता व सेवा का व्यवहारिक स्वरूप है तथा सामाजिक परिवर्तन का सार्थक संकेत है।