वाशिंगटन। माइक्रोसॉफ्ट ने अपने नए भारतीय-अमरीकी मुख्य कार्यकारी अधिकारी सत्या नडेला के नेतृत्व में तेल कंपनी एक्सॉन मोबिल को पीछे धकेल दिया है और एप्पल इंक के बाद दुनिया की सबसे मूल्यवान कंपनी के स्थान पर पहुंच गई है।
प्रौद्योगिकी समाचार पत्रिका टेक टाइम्स के मुताबिक निजी कंप्यूटर की घटती मांग से जूझ रही माइक्रोसॉफ्ट में बदलाव करते हुए नडेला ने कं पनी का कारोबार क्लाउड सेवा और मोबाइल टेक्नोलॉजी पर केंद्रित किया और साथ ही नौकरियों में छंटनी करते हुए कंपनी का खर्च घटाया।
नडेला की इन कोशिशों के कारण माइक्रोसॉफ्ट के शेयरों में तेजी आई और कंपनी दुनिया की दूसरी सबसे मूल्यवान कंपनी बन गई। एक्सॉन मोबिल का मूल्य अभी 402.66 अरब डॉलर है। इस साल के शुरू में यह 483.1 अरब डॉलर की कंपनी थी।
माइक्रोसॉफ्ट की कीमत मई में 343.8 अरब डॉलर थी। 14 नवंबर को इसके शेयर 49.58 डॉलर पर बंद हुए, जिससे कंपनी की कीमत 408.7 अरब डॉलर हो गई, जो एक्सॉन मोबिल से अधिक है। माइक्रोसॉफ्ट हालांकि अब भी एप्पल इंक से काफी पीछे है।