Warning: Undefined variable $td_post_theme_settings in /www/wwwroot/sabguru/sabguru.com/news/wp-content/themes/Newspaper/functions.php on line 54
उत्तराखंड का सियासी संग्राम-आरोप प्रत्यारोप का दौर जारी - Sabguru News
Home Uttrakhand Dehradun उत्तराखंड का सियासी संग्राम-आरोप प्रत्यारोप का दौर जारी

उत्तराखंड का सियासी संग्राम-आरोप प्रत्यारोप का दौर जारी

0
उत्तराखंड का सियासी संग्राम-आरोप प्रत्यारोप का दौर जारी
Uttarakhand political crisis : blame game between bjp and congress
Uttarakhand political crisis : blame game between bjp and congress
Uttarakhand political crisis : blame game between bjp and congress

देहरादून। उत्तराखंड का सियासी संग्राम अपने चरम पर है। हरीश रावत को सदन में विश्वास मत हासिल करने का दिन 28 मार्च ज्यों ज्यों नजदीक आता जा रहा है वैसे ही यहां आरोप प्रत्यारोप का दौर भी तेज होता जा रहा है।

अब ताजा घटनाक्रम में मुख्यमंत्री हरीश रावत ने शुक्रवार को भाजपा पर उनकी चुनी हुई सरकार को धनबल के आधार पर अस्थिर करने का आरोप लगाया है। उन्होंने बीजापुर राज्य अतिथिगृह के अपने सरकारी आवास पर पत्रकारों से बातचीत करते हुए उक्त आरोप लगाए।

उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी ने देश में लोकतांत्रिक ढंग से चुनी हुई सरकारों को गिराने का अभियान छेड़ा हुआ है। उन्होंने कहा कि अभी अरूणाचल प्रदेश का मामला ठंडा भी नहीं पड़ा और भाजपा ने उत्तराखंड सरकार को गिराने का षडयंत्र रच दिया।

उन्होंने कहा कि धनबल के आधार पर किसी चुनी हुई सरकार को अस्थिर करने की परंपरा राजनीति पर बहुत बुरा असर डालेगी। उन्होंने कहा कि बात सिर्फ हरीश रावत की सरकार को गिराने की नहीं बल्कि इस छोटे से शांत हिमालयी राज्य में इस तरह की परंपरा बहुत नुकसानदेह साबित होगी।

उन्होंने कहा कि कोई भी व्यक्ति या संस्था 5 या 7 विधायकों को धन के बल पर खरीदकर उन्हें सरकार के खिलाफ खड़ा कर दे और सरकार को अस्थिर करने की कोशिश करें यह बहुत निन्दनीय है। उन्होंने कहा कि आगामी 28 मार्च हम विधानसभा में अपना बहुमत साबित कर देंगे।

उधर प्रदेश भाजपा ने मुख्यमंत्री पर भ्रष्टाचारी होने और विधायकों के खरीदफरोख्त का आरोप लगाते हुए राष्ट्रपति से बर्खास्त करने की मांग की है। प्रदेश प्रवक्ता मुन्ना सिंह चौहान ने कहा कि उत्तराखंड सरकार की व्यवस्थाओं के कारण संवैधानिक मान्यताओं का हनन हो रहा है।

राजभवन के निर्देश के बावजूद यह सरकार उसका अनुपालन नहीं कर रही है। इसका प्रत्यक्ष प्रमाण राजभवन द्वारा 18 मार्च की स्थितियों को देखते हुए व्यवस्था बनाए रखने तथा केन्द्र को भेजी गई रिपोर्ट के बावजूद इस सरकार ने दर्जनों नीतिगत निर्णय लिए है।

अल्प बहुमत वाली कार्यकारी सरकार नीतिगत निर्णय नहीं ले सकती। उसके बावजूद इस सरकार ने दर्जनों लोगों के जो पदास्थापित थे हटाया है तथा दर्जनों नियुक्तियां की है। राज्यपाल के आदेश की अवमानना है और यह अवैधानिक कृत्य हरीश रावत सरकार ने जानबूझकर किया है जो राज्यपाल के आदेशों की अनदेखा करना है।इस घटना के बाद राज्यपाल को तुरंत इस सरकार को बर्खास्त कर देना चाहिए।

उन्होंने कहा कि तमाम व्यवस्थाएं इस बात का संकेत है कि मुख्यमंत्री ने बहुमत जुटाने के लिए इस तरह का प्रलोभन दिया है जो अवैधानिक है। इसका सीधा-सीधा अर्थ यह भी है कि वर्तमान सरकार खरीद फरोख्त यानि हार्सटेडिंग की व्यवस्था में जुटी हुई है। ऐसे में महामहिम को तुरंत हस्तक्षेप करना चाहिए।

उन्होंने कहा कि भाजपा विधायक भीमलाल आर्य को डा. भीम राव अम्बेदकर समिति का उपाध्यक्ष बनाया जाना इसी बात का प्रमाण है जिसके कैबिनेट मंत्री यशपाल आर्य अध्यक्ष है और यह निर्णय उत्तराखंड कैबिनेट ने लिया है।