सिलीगुडी। हाथ-हथौडी और कमल इस बार उत्तर बंगाल में नहीं दिखेंगे और न ही टिकेंगे। तराई-डुवार्स हो या पहाड व समतल, उनका नाम-ओ -निशान नहीं रहेगा। मानवता विरोधी लोगों का साथ बंगाल की जनता कभी नहीं देगी।
कुछ लोगों ने पहाड और समतल के लोगों के बीच मतभेद कराया। आज वें ही लोग गोजमुमो से जोट कर रहें है। कह रहें है गुरूंग भाई हमारे पास आओ, हम समर्थन करूंगा। बंगाल में मतभेद की राजनीति मैं नहीं होने दूंगी। पहाड के रहने वाले हो या समतल के, मेरे लिए दोनों प्रिय है। दोनों मेरे भाई-बहन है। यह कहना है तृणमूल सुप्रिमो ममता बनर्जी का।
वे सोमवार को हवाई मार्ग से कोलकाता से सिलीगुडी आईं थी। वें 5 दिवसीय उत्तर बंगाल दौरे पर है। सोमवार को उन्होंने बिजलीमणि चाय बगान में एक कर्मी सभा को संबोधित किया। चाय बगान के बाद वे बिजलीमणि फुटबॉल मैदान में गई।
इसके बाद माटिगाढा-नक्सलबाडी, खोरीबाडी, फांसीदेवा विधानसभा क्षेत्र में जाकर अपने पार्टी के उम्मीदवारों के लिए प्रचार किया। उनके साथ डाबग्राम -फूलबाडी विधानसभा क्षेत्र के तृणमूल उम्मीदवार गौतम देव, सिलीगुडी के उम्मीदवार वाइचुंग भूटिया, अमर सिन्हा सहित पार्टी के विभिन्न नेता व समर्थक उपस्थित थे।
उनके साथ भारतीय क्रिकेट के कप्तान महेंद्र सिंह धोनी के भाई नरेंद्र सिंह धोनी आदि ने ममता बनर्जी के साथ कदम से कदम मिलाया। तृणमूल सुप्रिमो ममता बनर्जी ने कहा कि पांच वर्ष में तृणमूल ने जो दिया, वह वाम ने 34 साल के शासन में नहीं दिया। वाम ने मतभेद की राजनीति किया है। हिंसा की राजनीकि की है।
एक ओर उनका कहना है कि गोरखालैंड नहीं होने दूंगा, दूसरी ओर गोरखा जनमुक्ति मोर्चा का समर्थन भी कर रही है। गुरूंग के साथ हाथ मिला रही है। वहीं गोजमुमो का भाजपा के साथ गठजोड है। इसका मतलब यह हुआ कि वाम को कांग्रेस और भाजपा दोनों से गठबंधन है।
बंगाल की जनता समझदार है। वह सब समझती है। वह पहाड और समतल में अशांति नहीं चाहती। समतल और पहाड, दोनों जगह शांति है। ठीक से व्यापार हो रहा है। वाम ने खून-खराबे की राजनीति करती है। गुंडागर्दी की है। केंद्र में यह काम क्रांग्रेस कर रही थी। अब भाजपा कर रही है। कहते हैं न कि चोर-चोर मौसेरे भाई।
आज वाम-कांग्रेस ने अपना रंग दिखा दिया। हमनें सत्ता में आकर कन्याश्री, शिक्षाश्री, सबुज साथी, गीतांजलि हाउंजिग, बिना शुल्क के चिकित्सा आदि परिसेवा चालू करवाया। बागान के लिए अलग से फंड बनाय। आठ करोड लोगों को हम 2 रूपए किलो के हिसाब से चावल और गेंहू दे रहें है।
आईसीडीए, आंगनबाडी कमियों को लिए बीमा, सेल्फ हेल्फ ग्रुप की महिलाओं के लिए चिकित्सा तथा लोन की व्यवस्था की गई। बेंगाल सफारी पार्क सिलीगुडी में चालू किया गया। भूटान-नेपाल -बंग्लादेश के साथ संपर्क को बढाया गया। सडक -मार्ग को व्यापार -वाणिज्य के लिए दुरूस्त किया गया। पहाड में विकास में लिए विभिन्न जनजातियों के लिए बोर्ड का गठन किया गया।
हमने 4 साल में 40 साल का काम किया। उन्होंने कहा कि धूप-छांव या बारिश, सबमें तृणमूल आपके साथ है। ‘ठंडा माथा कूल, फेर आसछे तृणमूलङ्क कहकर अपने समर्थकों में नया उत्साह और जोश भरा। सिलीगुडी में वाइचुंग अधिक मतों से विजयी होंगे। लोकसभा में उसे 90 हजार वोट मिले थें। उसे षंडयंत्र करके हराया गया था। लेकिन इसबार तृणमूल ही जीतेगी।
कर्मीसभा के बाद ममता बनर्जी ने नंदीग्राम दिवस के उपलक्ष्य में शहीदों को स्मरण करते हुए दार्जिलिंग मोड से लेकर हासमीचौक तक पदयात्रा की। उनके साथ भाडी संख्या में उनके समर्थक, उम्मीदवार व कार्यकत्र्ता उपस्थित थें। पदयात्रा को लेकर सुरक्षा व्यवस्था बढा दी गई थी।
सडकों के दोनों ओर शहरवासियों की अच्छी-खासी भीड देखी गई। ममता बनर्जी ने मुस्कुराते हुए, प्रणाम करते हुए हाथ हिलाते हुए, शहरवासियों को अभिवादन किया। गौरतलब है कि ममता बनर्जी पहली बार शहर में किसी पदयात्रा में शामिल हुई है।