पणजी। कांग्रेस ने गुरुवार को भाजपा अध्यक्ष अमित शाह के बेटे पर लगे आरोपों पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की चुप्पी को लेकर सवाल उठाया है और शाह के इस्तीफे की मांग की है, ताकि इस मामले की निष्पक्ष जांच हो सके।
गोवा की राजधानी स्थित पार्टी के प्रदेश कार्यालय में संवाददाताओं से मुखातिब कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता प्रियंका चतुर्वेदी ने यह भी कहा कि फर्जी कंपनियों के खिलाफ प्रधानमंत्री के अभियान के तहत जय शाह के सह-स्वामित्व वाली टेम्पल एंटरप्राइजेज प्राइवेट लिमिटेड की संचालन प्रक्रिया भी जांच कराई जानी चाहिए। शाह की यह कंपनी भी फर्जी जैसी ही है।
प्रियंका ने संवाददाताओं से कहा कि प्रमाणकिता की खातिर, मोदी जिसके लिए खड़े हुए उसकी खातिर अगर छुपाने के लिए कुछ नहीं है तो अमित शाह को आगे आकर जांच कराने से कौन रोक रहा है? यही जांच उनके बेटे की छवि को साफ कर सकती है।
कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा कि लेकिन हम सभी जानते हैं कि अगर कुछ गलत नहीं हुआ होता तो उन्हें जांच से बचाने के प्रयास क्यों किए जाते। जय शाह न विधायक हैं न सांसद, न मंत्री, बल्कि एक कारोबारी। ताज्जुब की बात है कि उनके बचाव में केंद्रीय मंत्रियों को सफाई देने मीडिया के सामने आना पड़ता है।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री उन्हें क्यों बचाने की कोशिश कर रहे हैं? ऐसा क्या है जो प्रधानमंत्री को उस व्यक्ति की जवाबदेही लेने से रोक रहा है, जो उनका सबसे करीबी है और जिसने अपने पूरी ब्रांडिंग समझौता के तहत भ्रष्टाचार के लिए जीरो टॉलरेंस (शून्य सहिष्णुता) की बात कही थी।
केंद्र सरकार पर जांच से दूर भागने का आरोप लगाते हुए प्रियंका ने यह भी कहा कि जब प्रधानमंत्री कह रहे हैं कि वह फर्जी कंपनियों के खिलाफ हैं और फर्जी कंपनियों को बंद कर रहे हैं, लेकिन क्या यह फर्जी कंपनी चलाने की मानक प्रक्रिया नहीं है? शाह की कंपनी की जांच क्यों नहीं होनी चाहिए?
एक ऑनलाइन न्यूज पोर्टल ‘द वायर’ ने खुलासा किया है कि एक गैर बैंकिंग वित्तीय संस्थान से प्रतिभूति रहित ऋण प्राप्त करने के बाद जय शाह की कंपनी की कमाई एक वर्ष के भीतर, यानी 2015-2016 में 50,000 रुपए से बढ़कर 80.5 करोड़ रुपए हो गई।