सिरोही. क्लक्ट्री मे सोमवार को खोली गयी नगर परिषद कि लॉटरी मे कई सालो से पार्षद बन रहे नेताओ की जमीन खिसका दी है. शहर का वार्ड संख्या 1, 2 ओर 3 सामान्य वर्ग के लिये आरक्षित हुआ है…
वार्ड 1 से रांनू परिहार पार्षद है, सामान्य हो जाने से ब उनके पति ओर बीजेपी नगर महामंत्री शंकर सिंह अब यहा से दावेदारी कर सकते है. अपने वार्ड के महिला के लिये आरक्षित होने से कांग्रेस पार्षद जितेन्द्र सिंघी भी 1 या 2 से अपना भाग्य आजमा सकते है. पुराने पार्षदो मे कांग्रेस के जग्दीश सेन, ईश्वरसिह डाबी, भगवती व्यास तथा उपसभापति प्रकाश प्रजापत को नयी जामीन तलाशनी पडेगी.
वही भाजपा से नेता प्रतिपक्ष सुरेश सगरवशी के वार्ड संख्या 9 के सामान्य वर्ग के लिये आरक्षित हो जाने से वो इस बार भी यही से चुनाव लडेंगे, लेकिन वर्तमान बोर्ड मे हुये भ्रष्टाचारो मे भाजपा की चुप्पी की नाराजगी इनके साथ कई वर्तमान पार्षदो को झेलेनी पड सक्ती है. कुछ पार्षदो का भ्रष्टाचार का विरोध करना ओर् फिर बिना किसी कार्र्वाई के चुप हो जाने के खेल का परिणाम भी इस चुनाव मे वर्तमान बोर्ड के पार्षदो को भुगतना पड सकता है.
सभापति पद का प्रमुख दावेदार मान रहे भाजपा पार्षद धनपत सिंह को भी अपना पुराना वार्ड फिर मिल गया है. दमयंति डाबी, मणि देवी के वार्ड अनुसूचित जाति के लिये आरक्षित हो गए है. वर्तमान सभापति जयश्री राठोड समेत वार्ड 15 से 25 तक की ओबीसी एसटी ओर सामान्य वर्ग की महिला नेत्रिया महिलाओ के लिये आरक्षित वार्ड 20 से अपना भाग्य आजमा सकती है. भाजपा से कई बार पार्षद रह चुके मगन मीणा ओर उनकी पत्नि पवनी देवी मीणा के भी परम्परागत वार्ड छिन गये है.
इस बार सिरोही मे सभापति का पद ओबीसी के लिये आरक्षित है ऐसे मे यहा पर अच्छे घमासान की सम्भावना है. इसी कारण सिरोही पंचायत समिति के पूर्व उप प्रधान ताराराम माली भी गांव से अपना नाम कट्वा कर सिरोही शहर की मतदाता सूचि मेन लिखवा चुके है. वैसे उनकी इस कोशिश से भाजपा नगर के ओबीसी पधाधिकारियो मे रोष भी है. उनका कहना है कि गांव ओर शहर दोनो मे प्रमुख पदो मेन ये शामिल होगे तो शहर के कार्यकर्ता क्या करेंगे. जातिगत गणित के अनुसार वे वार्ड संख्या 11 से चुनाव लड सकते है.