भाजपा का संविधान बदलने का सपना सपना ही रह गया – संयम लोढ़ा

सरगरा समाज सम्मान समारोह में पारितोषिक वितरण करते संयम लोढ़ा।

शिवगंज। पूर्व विधायक संयम लोढ़ा ने कहां कि भारत का संविधान हमने बहुत संघर्ष करने के बाद पाया हैं। मै बंगाल, उत्तरप्रदेश, राजस्थान, महाराष्ट्र की जनता को धन्यवाद दूंगा की भाजपा को 240 पर रोक लिया अगर यह 400 पार हो जाते तो यह देश का संविधान बदल देते। लोढ़ा कांबेश्वर महादेव रोड बड़गांव, शिवगंज में सरगरा समाज 27 पट्टा प्रथम प्रतिभावान छात्र छात्रा सम्मान समारोह को संबोधित कर रहे थे।

लोढ़ा ने कहां कि भाजपा के संविधान को बदलने की पुष्टि इस बात से होती हैं लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान नागोर से भाजपा प्रत्याशी ज्योति मिर्धा, अयोध्या से ललन सिंह, उप मुख्यमंत्री दिया कुमारी ने संविधान बदलने के 400 सीट देने का आग्रह किया था। भाजपा का संविधान बदलने का सपना, सपना ही रह गया।

लोढ़ा ने कहा की राम मंदिर शिलान्यास कार्यक्रम में पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, राम मंदिर के उदघाटन एवं संसद के नए भवन में उद्घटान में कार्यक्रम में राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू को नही बुलाया गया। भाजपा का यह दोहरा चरित्र पूरे देश की जनता के सामने आ गया हैं।

लोढ़ा ने कहा कि हम और आप हमेशा एक परिवार की तरह हैं, हमेशा मिल जुलकर साथ चले है, आगे बढ़े है और हमेशा इसी तरह से आगे भी साथ रहेंगे, साथ चलेंगे, साथ बढ़ेंगे और जहां कही भी समाज में कमजोरिया दिखेगी मिल जुलकर उन कमियों को दूर करने का काम करेंगे।

लोढ़ा ने कहा की समाज ने जब जब याद किया हैं, मै हमेशा खड़ा रहा हूं। सिरोही में छात्रावास की भूमि, शिवगंज में छात्रावास की भूमि, शिवगंज में समाज को भूमि आवंटित, नीलकंठ महादेव मंदिर पट्टा, कालंद्री में सरगरा छात्रावास की भूमि आवंटित सहित अन्य समाज के हित के कार्य किए हैं। लोढ़ा ने कहा कि हमारे बच्चे और तेजी से कैसे आगे बढ़े, कैसे उनका भविष्य बने इस दिशा में हम चिंतनशील हैं।

जिला परिषद सदस्य एवं पूर्व प्रधान हरिशंकर मेवाड़ा ने कहां कि हमे बेटो के साथ बेटियो की शिक्षा पर भी अधिक जोर देना चाहिए। हमारी प्राथमिकता होनी चाहिए हम कैसे अपनी बेटियो का भविष्य बेहतर कर सकते हैं। समाज का जो उत्थान हुआ हैं वो कांग्रेस की लोक कल्याणकारी नीतियों का परिणाम हैं।

इस दौरान सरगरा समाज के 60 प्रतिशत से अधिक अंक प्राप्त करने वाले होनहार विद्यार्थियों को सम्मानित किया गया।

कार्यक्रम में हनुमान टेकरी आबूरोड के महंत प्रेम नाथ महाराज, निर्भय नाथ, शीतल नाथ, रामनाथ मोजूद थे। कार्यक्रम की व्यवस्था हिम्मत दाना, पोपट लाल, भंवर लाल, सांखला राम, लोकेश दत्ता, सूरज प्रकाश, कालूराम, मछाराम, भोपाराम, भगाराम, खीमाराम आदि ने संभाली।