चेन्नई। तमिलनाडु के कल्लाकुरिची जिले के करुणापुरम गांव में बुधवार को कथित तौर पर जहरीली शराब पीने से कम से कम 13 लोगों की मौत हो गई और कई अन्य बीमार हो गए जिन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया। रिपोर्ट में कहा गया है कि मृतकों में कम से कम तीन महिलाएं शामिल हैं।
राज्य के लोक निर्माण मंत्री ईवी वेलु ने कल्लाकुरिची में स्वास्थ्य मंत्री मा.सुब्रमण्यम के साथ अस्पतालों में घायलों से मिलने के बाद आज रात संवाददाताओं से बात करते हुए हताहतों की संख्या की घोषणा की। उन्होंने कहा कि अब तक 13 लोगों की मौत हो चुकी है और ये मौतें पाउच में बेची जाने वाली जहरीली शराब में मेथनॉल की मौजूदगी के कारण हुई हैं।
रिपोर्टों में कहा गया है कि लगभग 30 लोगों को विभिन्न अस्पतालों में भर्ती कराया गया है। मीडिया रिपोर्टों और टीवी चैनलों का कहना है कि 70 से अधिक लोगों को भर्ती कराया गया है।
पुलिस मुख्यालय में संपर्क करने पर अधिकारियों ने कहा कि जिलों और अस्पतालों से प्राप्त रिपोर्ट संकलित की जा रही है। वेलु ने यह भी कहा कि कल्लाकुरिची सरकारी अस्पताल में नौ लोगों की हालत गंभीर थी, जबकि बाकी लोगों की हालत स्थिर थी और वे जल्द ही ठीक हो जाएंगे।
उन्होंने कहा कि डॉक्टरों ने आश्वासन दिया है कि 9 गंभीर रोगियों को ठीक कर दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार कभी भी अवैध शराब के खतरे को बढ़ावा नहीं देगी और मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने इसमें शामिल लोगों के खिलाफ तुरंत कार्रवाई की है।
उन्होंने इस मुद्दे से निपटने में पुलिस अधिकारियों के सुस्त रवैये को भी जिम्मेदार ठहराया। वेलु ने कहा कि हम इस घटना को उचित नहीं ठहरा रहे हैं। उन्होंने कहा कि सत्तारूढ़ द्रमुक कभी भी ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति नहीं होने देगी और इसे रोकने के लिए सभी कदम उठाए जाएंगे।उन्होंने यह भी कहा कि पीड़ितों के शव पोस्टमार्टम के बाद उनके परिवारों को सौंप दिए जाएंगे।
रिपोर्ट्स के मुताबिक 66 से ज्यादा लोगों का अस्पतालों में इलाज चल रहा है। उनमें से 17 को पुडुचेरी के जिपमेर, आठ को सेलम के सरकारी मोहन कुमारमंगलम मेडिकल कॉलेज और अस्पताल और चार को विल्लुपुरम मेडिकल कॉलेज अस्पताल में रेफर किया गया है।
सूत्रों के मुताबिक पीड़ितों में ज्यादातर दिहाड़ी मजदूर और सामान ढोने वाले लोग थे। जिन्होंने कथित तौर पर इलाके के एक विक्रेता से अवैध शराब खरीदी थी। शराब विक्रेता को गिरफ्तार कर लिया गया और 200 लीटर नकली शराब जब्त की गई।
स्थानीय लोगों ने आरोप लगाया कि नकली शराब की बिक्री लगभग 3-4 वर्षों से हो रही है और कई शिकायतों के बावजूद पुलिस या जिला प्रशासन द्वारा कोई कार्रवाई शुरू नहीं की गई है। यहां एक बयान में उन्होंने पीड़ितों के परिवारों को 10-10 लाख रुपए की सहायता राशि देने और अस्पताल में भर्ती लोगों को बेहतर इलाज मुहैया कराने की मांग की।
भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष के अन्नामलाई ने भी मौतों पर शोक जताया। उन्होंने राज्य सरकार पर राज्य में अवैध शराब की समस्या को नियंत्रित करने के लिए कदम नहीं उठाने का आरोप लगाया। पिछले साल ही पास के विल्लुपुरम और चेंगलपट्टू जिलों में दोहरी जहरीली शराब त्रासदी में कम से कम 23 लोगों की मौत हो गई थी।