श्रीहरिकोटा। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने नए साल 2024 की शुरुआत एक नए मिशन के साथ की है। इसरो ने सोमवार की सुबह श्रीहरिकोटा के अंतरिक्ष केंद्र से पीएसएलवी-सी58, एक्सपीओसैट, एक्स-रे पोलारिमीटर सैटेलाइट और दस अन्य पेलोड का परीक्षण किया।
इसके लिए रविवार सुबह 08.10 बजे 25 घंटे की सुचारू उलटी गिनती शुरू हुई थी। इसरो के वर्कहॉर्स लॉन्च वाहन ने दर्शकों के जोरदार उत्साह के बीच आज 09.10 बजे पहले लॉन्च पैड से उड़ान भरी। इसरो के अध्यक्ष एस.सोमनाथ समेत इस मिशन से जुड़े सभी वैज्ञानिक उड़ान की दिशा पर पैनी नजर रख रहे हैं।
उड़ान भरने से लगभग 20 मिनट बाद अंतरिक्ष यान को कक्षा में स्थापित किया जाएगा, जिसके बाद प्रक्षेपण यान पीएस4 के चौथे चरण में इसकी कक्षा को 650 किलोमीटर से घटाकर लगभग 350 किमी तक कम करने के लिए इंजन को दो बार बंद किया जाएगा।
मोदी ने इसरो को उपग्रह के सफल प्रक्षेपण पर दी बधाई
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी व केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह समेत कई केंद्रीय मंत्रियों, राज्यों के राज्यपालों एवं मुख्यमंत्रियों, केंद्रशासित प्रदेश के उपराज्यपालों व प्रशासकों समेत विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं ने सोमवार को भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) द्वारा एक्स-रे पोलारिमीटर सैटेलाइट (एक्सपीओसैट) उपग्रह के सफल प्रक्षेपण पर प्रसन्नता व्यक्त की और वैज्ञानिकों की शुभकामनाएं दी।
मोदी ने भारत को अंतरिक्ष क्षेत्र में ऊंचाइयों पर ले जाने के लिए इसरो वैज्ञानिकों को शुभकामनाएं दीं। प्रधानमंत्री ने एक्स पर पोस्ट किया कि वर्ष 2024 की शानदार शुरुआत के लिए हमारे वैज्ञानिकों को धन्यवाद। यह प्रक्षेपण अंतरिक्ष क्षेत्र के लिए अद्भुत खबर है और इस क्षेत्र में भारत के कौशल को बढ़ाएगा। भारत को अभूतपूर्व ऊंचाइयों पर ले जाने के लिए इसरो के हमारे वैज्ञानिकों और पूरी अंतरिक्ष समुदाय को शुभकामनाएं।
इसरो ने नए साल 2024 के पहले दिन पीएसएलवी-सी58 एक्सपीओसैट प्रक्षेपित किया। पीएसएलवी ने अपने 60वें मिशन में श्रीहरिकोटा के सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र से सुबह 09.10 बजे उड़ान भरी और 22 मिनट बाद एक्सपीओसैट को पूर्व की ओर कम झुकाव वाली कक्षा में लॉन्च किया।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने भी उपग्रह के प्रक्षेपण की सराहना की और कहा कि अंतरिक्ष में भारत की शानदार प्रगति। शाह ने एक्स पर कहा कि हमारी आकाशगंगा में ब्लैक होल और न्यूट्रॉन सितारों का अध्ययन करने के लिए विशेष खगोल विज्ञान वेधशाला उपग्रह एक्सपीओसैट के ऐतिहासिक प्रक्षेपण पर हमारे इसरो वैज्ञानिकों को बधाई। 2024 के पहले दिन ज्ञान की खोज में ब्रह्मांड को रोशन करते हुए, आपने एक बार फिर साबित किया है आपकी ताकत हमारा गौरव है।
केंद्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह ने प्रक्षेपण को इसरो की 2024 की शैली में शुरुआत कहा। सिंह ने एक्स पर कहा कि ऐसे समय में अंतरिक्ष विभाग के साथ जुड़ने पर गर्व है जब टीम इसरो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के व्यक्तिगत हस्तक्षेप और संरक्षण के साथ एक के बाद एक सफलता हासिल कर रही है।
इस उपग्रह के माध्यम से, भारत अमरीका के बाद हमारी आकाशगंगा में ब्लैक होल और न्यूट्रॉन सितारों का अध्ययन करने के लिए एक विशेष खगोल विज्ञान वेधशाला भेजने वाला दुनिया का दूसरा देश बन जाएगा।
इस बीच आंध्र प्रदेश के राज्यपाल एस अब्दुल नजीर और मुख्यमंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी ने पीएसएलवी-सी58 रैकेट के सफल प्रक्षेपण के लिए इसरो के वैज्ञानिकों को बधाई दी है। नज़ीर ने सोमवार को यहां एक संदेश में, पीएसएलवी-सी58 रैकेट के सफल प्रक्षेपण और श्रीहरिकोटा से ब्लैक होल और न्यूट्रॉन सितारों का अध्ययन करने के लिए उन्नत खगोल विज्ञान वेधशाला ‘एक्सपीओएसएटी’ उपग्रह को कक्षा में स्थापित करने के लिए नववर्ष के दिन पर इसरो वैज्ञानिकों को बधाई दी।
उन्होंने कहा कि इसरो ने ‘एक्सपीओएसएटी’ मिशन के सफल प्रक्षेपण के साथ भारत का झंडा ऊंचा रखा है। अमरीका के बाद भारत ब्लैक होल का अध्ययन करने के लिए वेधशाला उपग्रह रखने वाला दूसरा देश बन गया है। इस मिशन के सफल प्रक्षेपण ने इसरो के लिए एक और उपलब्धि जोड़ दी है।
राज्यपाल ने इसरो को भविष्य में और अधिक ऊंचाइयां छूने की शुभकामनाएं दीं। वाईएस जगन मोहन रेड्डी ने ‘पीएसएलवी सी-58’ के सफल प्रक्षेपण के लिए इसरो वैज्ञानिकों को बधाई दी और कहा कि यह एक यादगार पल है। उन्होंने भविष्य के प्रयासों में इसरो की सफलता की कामना की।